शनि और स्वास्थ्य: शरीर व मन पर प्रभाव

शनि और स्वास्थ्य: शरीर व मन पर प्रभाव

1. शनि का ज्योतिष में स्थानभारतीय ज्योतिष शास्त्र में शनि ग्रह को अत्यंत महत्वपूर्ण स्थान प्राप्त है। शनि को न्यायाधीश और कर्मफल दाता के रूप में जाना जाता है। यह…
सूर्य दोष: पहचान, कारण और ज्योतिषीय समाधान

सूर्य दोष: पहचान, कारण और ज्योतिषीय समाधान

1. सूर्य दोष क्या है?भारतीय ज्योतिष में सूर्य दोष एक महत्वपूर्ण अवधारणा है, जो व्यक्ति की जन्म कुंडली में सूर्य ग्रह की स्थिति और उसके प्रभाव से जुड़ी होती है।…
शनि और कर्मफल की भारतीय अवधारणा

शनि और कर्मफल की भारतीय अवधारणा

1. शनि ग्रह का भारतीय ज्योतिष में महत्वभारतीय ज्योतिष में शनि ग्रह का विशेष स्थान है। शनि को न्याय के देवता और कर्मफल का दाता माना जाता है। शास्त्रों के…
अशुभ राहु-केतु: निवारण के लिए भारतीय संस्कृति में प्रचलित त्यौहार और व्रत

अशुभ राहु-केतु: निवारण के लिए भारतीय संस्कृति में प्रचलित त्यौहार और व्रत

1. राहु-केतु के अशुभ प्रभाव: भारतीय संस्कृति में उनका महत्त्वभारतीय ज्योतिष शास्त्र में राहु और केतु दो छाया ग्रह माने जाते हैं, जिनका मानव जीवन पर गहरा असर पड़ता है।…
शनि और भारतीय मिथक: पौराणिक कथाएँ और लोक विश्वास

शनि और भारतीय मिथक: पौराणिक कथाएँ और लोक विश्वास

1. शनि का संक्षिप्त परिचयशनि देवता, जिन्हें शनि महाराज या शनिदेव भी कहा जाता है, हिन्दू धर्म में एक अत्यंत महत्वपूर्ण ग्रह और देवता के रूप में पूजे जाते हैं।…
शनि के जातक: सामान्य लक्षण व व्यवहार

शनि के जातक: सामान्य लक्षण व व्यवहार

1. शनि के जातक: परिचयभारत में ज्योतिष शास्त्र का विशेष महत्व है और ग्रहों की स्थिति जीवन के विभिन्न पहलुओं को प्रभावित करती है। इन ग्रहों में शनि (Saturn) को…
राशियों और भावों में राहु-केतु की स्थिति का गहरा विश्लेषण

राशियों और भावों में राहु-केतु की स्थिति का गहरा विश्लेषण

1. राहु-केतु का ज्योतिष में महत्वभारतीय ज्योतिष शास्त्र में राहु और केतु को छाया ग्रह कहा जाता है। ये भौतिक रूप से मौजूद नहीं हैं, बल्कि चंद्रमा और सूर्य के…
गुरु-शुक्र प्रतियुति का वैदिक विश्लेषण

गुरु-शुक्र प्रतियुति का वैदिक विश्लेषण

गुरु-शुक्र प्रतियुति की पारंपरिक वैदिक भूमिकागुरु (बृहस्पति) और शुक्र (शुक्राचार्य) भारतीय वैदिक ज्योतिष एवं सांस्कृतिक ग्रंथों में अत्यंत महत्वपूर्ण स्थान रखते हैं। इन दोनों ग्रहों की प्रतियुति यानी युति या…
शुक्र दोष और वैवाहिक जीवन में समस्याएँ

शुक्र दोष और वैवाहिक जीवन में समस्याएँ

1. शुक्र ग्रह का ज्योतिषीय महत्वभारतीय ज्योतिष में शुक्र ग्रह को अत्यंत महत्वपूर्ण स्थान प्राप्त है। वेदों और पुराणों में भी शुक्र को प्रेम, सौंदर्य, कला, भौतिक सुख-सुविधा तथा विवाह…
मंगल दोष निवारण के सामाजिक, मानसिक एवं व्यक्तिगत परिणाम: न्यायसंगत विश्लेषण

मंगल दोष निवारण के सामाजिक, मानसिक एवं व्यक्तिगत परिणाम: न्यायसंगत विश्लेषण

1. मंगल दोष का सामाजिक प्रभावभारतीय समाज में मंगल दोष की मान्यताएँभारतीय समाज में विवाह को सिर्फ दो व्यक्तियों का मिलन नहीं, बल्कि दो परिवारों का संबंध माना जाता है।…